कर्नाटक हाईकोर्ट के एक जज ने उस महिला को कड़ी फटकार लगाई है, जिसने अपने पति से हर महीने 6 लाख रुपये से ज्यादा भरण-पोषण की मांग की थी। महिला राधा मुनुकुंतला हिंदू विवाह अधिनियम, 1955 की धारा 24 के तहत वित्तीय सहायता की मांग कर रही थी और उसने अपनी मांग को उचित ठहराने के लिए अपने मासिक खर्चों का विवरण दिया था।